हे गणेश गिरिजा सुवन!
जय गणपति महाराज।
मंगल मूर्ति शिव तनय,
पूर्ण करो सब काज।
हर माता की गोद को,
रखो सदा आबाद।
सार्थक कर दो जन्म ये,
ना होवे बरबाद।
दुखियारों के दुःख हरो,
रखो सबकी लाज।
सारे पातक माफ़ कर,
भेंटो सबसे आज।
रोग दोष दारिद्र्य को,
दूर करो महाराज।
हे गणेश गिरिजातनय!
जय गणपति महाराज।
साहित्य और संस्कृति को संरक्षित और प्रोत्साहित करने के लिए सामूहिक प्रयास की आवश्यकता होती है। आपके द्वारा दिया गया छोटा-सा सहयोग भी बड़े बदलाव ला सकता है।
सहयोग कीजिएरचनाएँ खोजने के लिए नीचे दी गई बॉक्स में हिन्दी में लिखें और "खोजें" बटन पर क्लिक करें